मंगल गीत: हेरी सखी मंगल गावो री.. (Mangal Geet: Heri Sakhi Mangal Gavo Ri..)

चोख पुरावो, माटी रंगावो,
आज मेरे पिया घर आवेंगेखबर सुनाऊ जो,
खुशी ये बताऊँ जो,
आज मेरे पिया घर आवेंगे ॥

हेरी/ओरी सखी मंगल गावो री,
धरती अम्बर सजाओ री,
उतरेगी आज मेरे पिया की सवारी,
हेरी कोई काजल लाओ री,
मोहे काला टीका लगाओ री,
उनकी छब से दिखूं में तो प्यारी,
लक्ष्मी जी वारो , नजर उतारो,
आज मेरे पिया घर आवेंगे ॥

रंगो से रंग मिले, नए-नए ढंग खिले,
खुशी आज द्वारे मेरे डाले है डेरा,
पीहू पीहू पपीहा रटे,
कुहू कुहू कोयल जपे,
आँगन-आँगन है परियो ने घेरा,
अनहद नाद. बजाओ रे सब-मिल,
आज मेरे पिया घर आवेंगे ॥

चोख पुरावो, माटी रंगावो,
आज मेरे पिया घर आवेंगे

खबर सुनाऊ जो,
खुशी ये बताऊँ जो,
आज मेरे पिया घर आवेंगे ॥